बादलों के आने पर प्रकृति में जिन गतिशील क्रियाओं को कवि ने चित्रित किया है, उन्हें लिखिए।
निम्नलिखित किसके प्रतीक हैं?
धूल, पेड़, नदी, लता, ताल
लता ने बादल रूपी मेहमान को किस तरह देखा और क्यों?
भाव स्पष्ट कीजिए
(क) क्षमा करो गांठ खुल गई अब भस्म की
(ख) बांकी चितवन
मेघ रूपी मेहमान के आने से वातावरण में क्या परिवर्तन हुए?
मेघों के लिए ‘बन-ठन के, संवर के’ आने की बात क्यों कही गयी है?
कविता में आए मानवीकरण तथा रूपक अलंकार के उदाहरण खोजकर लिखिए।
कविता में जिन रीति रिवाजों का मार्मिक चित्रण हुआ है, उनका वर्णन कीजिए।
कविता में कवि ने आकाश में बादल और गांव में मेहमान (दामाद) के आने का जो रोचक वर्णन किया है, उसे लिखिए।
काव्य-सौंदर्य लिखिए-
पहुन ज्यों आए हों गांव में शहर के।
मेघ आए बड़े बन-ठन के संवर के।
वर्षा के आने पर अपने आसपास के वातावरण में हुए परिवर्तनों को ध्यान से देखकर एक अनुच्छेद लिखिए।
कवि ने पीपल को ही बड़ा बुजुर्ग क्यों कहा है? पता लगाइए।
कविता में मेघ को ‘पाहुन’ के रूप में चित्रित किया गया है। हमारे यहाँ अतिथि (दामाद) को विशेष महत्व प्राप्त है, लेकिन आज इस परंपरा में परिवर्तन आया है। आपको इसका क्या कारण नजर आता है, लिखिए।
कविता में आए मुहावरों को छांटकर अपने वाक्यों में प्रयुक्त कीजिए।
कविता में प्रयुक्त आंचलिक शब्दों की सूची बनाइए।
‘मेघ आए’ कविता की भाषा सरल और सहज है- उदाहरण देकर स्पष्ट कीजिए?